इससे लोग हो रहे हादसे के शिकार
बुलन्दशहर (द.ट.)।शिकारपुर में पुलिस की निष्क्रियता के कारण धड़ल्ले से नाबालिग बच्चे ई-रिक्शाओं को धड़ल्ले से चला रहे हैं,जबकि इस उम्र में इन नाबालिग बच्चों के हाथों में कलम कॉपी होनी चाहिये थी,जो अब उनके हाथों में ई-रिक्शा है,जोकि सरासर गलत है।
बता दें कि इस समय शिकारपुर नगर में पुिलस की निष्क्रियता के कारण दर्जनों नाबालिग बच्चों के हाथों में कलम व बस्ता लेकर स्कूल जाने की जिम्मेदारी होनी चाहिए थी,जबकि वह इस समय घर की जिम्मेदारी सम्भालकर ई-रिक्शा लेकर सड़कों पर दौड़ लगाते दिखाई दे रहे हैं।जब तक बच्चा पैसा कमाने लायक होगा,तब तक न जाने उसे कितने हादसों का सामना करना पड़ेगा। आखिर यह मासूम अगर ई-रिक्शा न चलाएं तो इनके घर के अन्य बच्चों व सदस्यों का लालन-पालन कौन करेगा? जब कोई घटना घटित होती है तो सड़कों पर यूपी 112 नम्बर गाड़ी दौड़ने लगती है और नाबालिग बच्चे सड़कों पर ई-रिक्शा दौड़ाते नजर आते हैं। स्थानीय पुलिस ई-रिक्शा चालकों की तरफ ध्यान भी नहीं देती और पुलिस देखकर भी अनदेखा कर देती है।जब दर्पण टाइम्स प्रतिनिधि ने ई-रिक्शा चालक से उसकी उम्र के बारे में पूछा तो मात्र 12 वर्ष उम्र बताई गई,जोकि निषेध है, मगर इस ओर किसी का कोई ध्यान नहीं है।